प्रस्तावना
JPSC की प्रारंभिक परीक्षा से पूर्व झारखण्ड विशेष के अंतिम लेख में मैं झारखण्ड राज्य के वर्ष 2016 की कुछ महत्वपूर्ण घटनाओं की चर्चा कर रहा हूँ, उम्मीद करता हूँ की इससे आप लाभान्वित होंगे | आप सभी परीक्षार्थी को परीक्षा के लिए मेरी शुभकामना | आप की सफलता के लिए मैं ईश्वर से प्रार्थना करूँगा |
केंद्र सरकार ने रांची में खेल विश्वविद्यालय खोलने की घोषणा की
- केंद्र सरकार ने झारखंड की राजधानी रांची में खेल विश्वविद्यालय खोलने की घोषणा की. केंद्र सरकार की ओर से केंद्रीय कोयला व ऊर्जा राज्यमंत्री पीयूष गोयल ने 1 जनवरी 2016 को रांची में अंतरराष्ट्रीय स्तर का खेल विश्वविद्यालय खोले जाने की घोषणा की.
- उपरोक्त घोषणा के तहत रांची में वर्ष 2017 तक सौ करोड़ रुपये से एक अंतरराष्ट्रीय स्तर के खेल विवि का निर्माण होगा. इसके साथ ही साथ 15 खेल अकादमी की भी स्थापना की जाएगी.
- इसमें 14 सौ खिलाड़ियों के प्रशिक्षण की व्यवस्था की जाएगी. इनमें सात सौ झारखंड के खिलाड़ी होंगे और सात सौ देश भर से होंगे. इन सात सौ खिलाड़ी सह छात्रों में से 350 का खर्च राज्य सरकार वहन करेगी और 350 का खर्च सीसीएल उठाएगी.
मुख्यमंत्री ने झारखण्ड के भूमि बैंक पोर्टल का उद्घाटन किया
- झारखण्ड के मुख्यमंत्री रघुवर दास ने 4 जनवरी 2016 को jharbhoom.nic.in नामक राज्य के भूमि बैंक पोर्टल का शुभारम्भ किया.
- यह पोर्टल निवेशकों को भूमि संबंधित जानकारी प्रदान करने में मददगार साबित होगा. इस पोर्टल के मध्यम से निवेशक राज्य के जिलों में उपलब्ध जमीन के सन्दर्भ में जरूरी जानकारी प्राप्त कर सकेंगे.
- इस व्यवस्था को और सुगम बनाने के उद्देश्य से प्रत्येक जिले में नोडल अधिकारी की नियुक्ति भी की गई है और इन अधिकारीयों के मोबाईल नम्बर और ईमेल आईडी इस पोर्टल पर उपलब्ध हैं.
- इसके अतिरिक्त मुख्यमंत्री ने अधिकारियों को उपलब्ध जमीन की जानकारी देने के लिए डिजिटल मैप से संबंधित कार्रवाई को शीघ्र पूर्ण करने के निर्देश दिए और कोल ब्लॉक आवंटित उद्योगों को लैंड बैंक से जमीन उपलब्ध कराने व फूड प्रोसेसिंग पार्क के लिए भी जल्द से जल्द जमीन चिह्नित करने को कहा.
बिजली योजना उदय के तहत केंद्र के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर करने वाला पहला राज्य बना झारखंड
झारखंड उज्जवल डिस्कॉम इंश्योरेंस योजना (उदय) में केंद्र के साथ समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर करने वाला पहला राज्य बन गया. झारखंड सरकार व केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के बीच नयी दिल्ली में 5 जनवरी 2016 को एमओयू हस्ताक्षर किया गया.
समझौता ज्ञापन की मुख्य विशेषताएं-
- राज्य में शेष 2200 गांवों में बिजली पहुचाने में राज्य सरकार को मदद मिलेगी.
- सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों के बकाया राशि की जिम्मेवारी राज्य सरकार की और जेबीवीएनएल को लेनी होगी.
- साल 2018-19 तक झारखंड राज्य सरकार और जेबीवीएनएल एटी एंड सी के घाटे को मौजूदा स्तर लगभग 40 प्रतिशत से 15 प्रतिशत तक कम करने के लिए नामित एटी एंड सी के प्रक्षेपवक्र का पालन करना होगा.
- चार प्रमुख राज्य महाराष्ट्र, उत्तर प्रदेश, बिहार और उड़ीसा ने भी पहले से ही उदय में शामिल होने के लिए अपनी सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है.
- समझौते के तहत झारखंड बिजली वितरण कंपनियों के पुनरोद्धार से जुडी उदय योजना में शामिल होगा.
- झारखंड की ओर से जेबीवीएनएल विभाग के प्रधान सचिव एसकेजी रहाटे तथा केंद्रीय ऊर्जा मंत्रालय के संयुक्त सचिव डॉ एके वर्मा ने सहमति पत्र पर हस्ताक्षर किए.
- झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास राज्य में परियोजनाओं के लिए जमीन उपलब्ध कराएँगे.
क्या है उदय :
- यह योजना केंद्र सरकार द्वारा 20 नवम्बर 2015 को विभिन्न स्टेकहोल्डर्स और वित्तीय संस्थानों के शुरू की गयी.
- केंद्र सरकार द्वारा वितरण कंपनियों को ऋण के दबाव से मुक्त करने के लिए उदय योजना आरंभ की गयी है.
- भारत सरकार द्वारा उज्जवल डिस्कॉम इंश्योरेंस योजना (उदय) बिजली वितरण कंपनियों के सुदृढ़ीकरण के लिए बनायी गयी है.
- इस योजना के तहत झारखंड बिजली वितरण कंपनी का ऋण तथा डीवीसी व कोल इंडिया के बकाये राशि का भुगतान राज्य सरकार रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया से ऋण लेकर करेगी.
- उदय योजना के तहत समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर करने वाला झारखंड पहला राज्य है.
क्या होगा लाभ
- झारखंड बिजली वितरण निगम लिमिटेड पर डीवीसी का कुल बकाया 7200 करोड़ रुपये है. जिसमें डिले पेमेंट सरचार्ज (डीपीसी) लगभग 2000 करोड़ रुपये के करीब है.
- इसमें वितरण निगम एकमुश्त छह हजार करोड़ रुपये का भुगतान करेगा तब डीवीसी डीपीएस के कुल रकम का 60 फीसदी राशि माफ करेगी, जो 1200 करोड़ रुपये के करीब है.
- इस योजना के तहत झारखंड को बिजली घाटा कम करने की दिशा में भी काम करना होगा.
- योजना के तहत घरलू उपभोक्ताओं को स्मार्ट मीटर देना, बिजली चोरी रोकना आदि भी शामिल है.
झारखंड में जादू-टोने जैसी घटनाओं पर त्वरित कार्रवाई हेतु फास्ट ट्रैक कोर्ट के गठन को मंजूरी
- झारखंड सरकार ने राज्य में जादू-टोने जैसी घटनाओं से संबंधित क्रियाकलापों पर त्वरित कार्रवाई के लिए फास्ट ट्रैक कोर्ट के गठन को 12 जनवरी 2016 को मंजूरी दी. इसके तहत जादू-टोने जैसी घटनाओं पर त्वरित कार्रवाई हेतु फास्ट ट्रैक कोर्ट राज्य के पांच जिलों में स्थापित की जाएंगी.
- उपरोक्त घोषणा के अनुसार, फास्ट ट्रैक कोर्ट रांची, पश्चिम सिंहभूम, खूंटी, पलामू और सिमडेगा जिलों में स्थापित की जाएंगी. जहां जादू-टोने की घटनाओं के अधिकतम मामले दर्ज होते हैं.
- विदित हो कि झारखंड में हर साल लगभग 40-50 महिलाओं को चुड़ैल घोषित कर मार दिया जाता है. राज्य के गठन के बाद से अबतक इस अंधविश्वास से 700 से अधिक महिलाओं की जाने जा चुकी हैं. झारखंड सरकार ने इन घटनाओं को रोकने के लिए वर्ष 2001 में एंटी-विचक्राफ्ट कानून बनाया था.
- इसके अलावा इन मामलों पर नजर रखने के लिए एक विशेष जांच दल भी गठित किया गया था, लेकिन सामाजिक कार्यकर्ताओं ने इस कानून को बेहद कमजोर करार दिया था. जिसके बाद सरकार ने इस विषय को लेकर कड़े कदम उठाए और इन अदालतों के गठन को मंजूरी दी.
देश का सबसे बड़ा और ऊंचा राष्ट्रीय ध्वज रांची में फहराया गया
रक्षामंत्री मनोहर पर्रिकर ने 23 जनवरी 2016 को रांची के पहाड़ी मंदिर पर देश का सबसे बड़ा एवं ऊंचा राष्ट्रीय ध्वज लहराया. यह विश्व का सबसे बड़ा भारतीय राष्ट्रीय ध्वज है.
इसे नेताजी सुभाष चंद्र बोस के जन्मदिन पर फहराया गया. इसका निर्माण पैराशूट के कपड़े से किया गया है. इसे तैयार करने में 120 कारीगरों ने 40 दिनों तक लगातार कार्य किया तथा इसपर 1.25 करोड़ रुपये का खर्च आया.
ध्वज की विशेषताएं
- राष्ट्रीय ध्वज के लिए रांची में 81.5 मीटर ऊंचा पोल लगाया गया.
- यह तिरंगा झंडा जमीन से 494 फीट की ऊंचाई पर है.
- इस तरह रांची ने फरीदाबाद का रिकार्ड तोड़ दिया जहां 246 फीट के पोल पर तिरंगा लहराता है.
- रांची में फहराए गए तिरंगे का वजन 60 किलोग्राम है. इसकी लंबाई 99 फीट और चौड़ाई 66 फीट है.
केंद्र सरकार ने देवघर (झारखंड) में संस्कृत विश्वविद्यालय को मंजूरी दी
केंद्र सरकार ने झारखंड के देवघर में संस्कृत विश्वविद्यालय खोलने के प्रस्ताव को 6 फरवरी 2016 को अपनी मंजूरी दी. तत्कालीन केंद्रीय मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी, झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास, राज्य की शिक्षा मंत्री नीरा यादव की मौजूदगी में उच्चस्तरीय बैठक में यह फैसला लिया गया.
उपरोक्त के साथ ही साथ झारखंड के शिक्षा के स्तर में सुधार को लेकर कई अन्य महत्वपूर्ण प्रस्तावों को भी मंजूरी दी गई.
मुख्य तथ्य:
- झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास ने झारखंड में कृषि के पुनरुद्धार के लिए नीति आयोग को सरकार की ओर से 5712.18 करोड़ रुपये के विशेष सहायता से संबंधित प्रस्ताव सुपुर्द किया.
- स्मार्ट ग्राम परियोजना के तहत गांवों के विकास के लिए स्मार्ट ग्राम परियोजना नीति आयोग को समर्पित की गयी है, जिसमें 525 करोड़ की व्यवस्था हो.
- मान्यताप्राप्त उच्च शिक्षा को दिये जाने वाले कंट्रीब्यूशन को 200 प्रतिशत तक कर से राहत दी जाए. आयकर दाताओं को बच्चे की शिक्षा पर आयकर की छूट की सीमा एक लाख की जाए.
- रांची में बननेवाली नई राजधानी के लिए 4095.30 करोड़ की सहायता देने का अनुरोध.
झारखंड के प्रथम मेगा फूड पार्क का रांची में शुभारंभ
उत्तरी भारतीय राज्य झारखंड के प्रथम मेगा फूड पार्क का 15 फरवरी 2016 को रांची में शुभारंभ हुआ. केंद्रीय खाद्य प्रसंस्करण उद्योग मंत्री श्रीमती हरसिमरत कौर बादल ने रांची जिले के गेटलसूद गांव में इस पार्क का उद्घाटन किया.
संबंधित मुख्य तथ्य:
- झारखंड में खाद्य प्रसंस्करण सेक्टर के विकास को गति देने के लिए मेसर्स झारखंड मेगा फूड पार्क प्राइवेट लिमिटेड की ओर से राज्य के पहले मेगा फूड पार्क का शुभारंभ हुआ.
- यह मेगा फूड पार्क 51.50 एकड़ क्षेत्र में बना है और इस पर निर्माण परियोजना लागत 114.73 करोड़ रुपए आई है.
- इस पार्क में बहु-स्तरीय शीत भंडारण, शुष्क माल गोदाम, सब्जियों के डिहाइड्रेशन लाइन, आधुनिक गुणवत्ता नियंत्रण और परीक्षण प्रयोगशाला सहित फलों और सब्जियों की प्रसंस्करण जैसी दूसरी सुविधाएं मौजूद हैं.
- इस परियोजना से किसानों को अपने उत्पादों की बेहतर कीमत तो मिलेगी ही, उनके उत्पाद कम-से-कम खराब होंगे. इसके अलावा, कृषिगत उत्पादों और उद्यमशीलता के व्यापक अवसर पैदा होने से राज्य के युवाओं को रोजगार मिलेगा. इससे झारखंड के करीब 30 हजार किसानों को लाभ मिलगी.
झारखंड एवं अडानी समूह ने थर्मल पावर प्लांट लगाने हेतु समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर किये
झारखण्ड सरकार एवं अडानी समूह ने 17 फरवरी 2016 को 15000 करोड़ रुपये के निवेश हेतु राज्य में 1600 मेगावाट का थर्मल पावर स्टेशन लगाने को मंजूरी प्रदान की.
समझौते के मुख्य बिंदु
- इस समझौते पर झारखंड के मुख्यमंत्री रघुबर दास एवं अडानी समूह के निदेशक राजेश अडानी ने मुंबई में आयोजित मेक इन इंडिया वीक के दौरान हस्ताक्षर किये.
- अडानी समूह ने बांग्लादेश पावर कारपोरेशन के साथ समझौते द्वारा उसे उर्जा सप्लाई करने की दिशा में इस समझौते पर हस्ताक्षर किये.
- यह प्रस्तावित प्लांट राज्य में गोड्डा एवं साहिबगंज जिलों में लगाये जायेंगे.
- झारखण्ड सरकार ने घोषणा की कि वह मेक इन इंडिया परियोजनाओं के तहत राज्य में 62000 करोड़ रुपये के निवेश का अनुमान लगा रही है.
- राज्य में 50000 करोड़ रुपये के साथ सबसे अधिक निवेश करने वाली कंपनी अडानी समूह है जो राज्य में उर्जा एवं विनिर्माण संयंत्र स्थापित करेगी.
राज्य में वेदांता समूह भी 2000 करोड़ रुपये के निवेश के साथ स्टील संयंत्र स्थापित करेगा.
रेल मंत्रालय ने रांची (हटिया)-बोंडामुंडा रेल लाईन के दोहरीकरण को मंजूरी दी
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अध्यक्षता में मंत्रिमंडल की आर्थिक मामलों की समिति ने 23 मार्च 2016 को 1921.94 करोड़ रुपये की पूर्णता लागत के साथ कुल 158.5 किलोमीटर लम्बी रांची (हटिया)-बोंडामुंडा रेल लाईन के दोहरीकरण को मंजूरी दी.
मुख्य तथ्य:
- इस परियोजना के 12वीं एवं 13वीं पंचवर्षीय योजना के दौरान अगले छह वर्षों में पूर्ण हो जाने की उम्मीद है.
- इस लाईन के दोहरीकरण से इस खंड की लाईन क्षमता का संवर्द्धन होगा और यह बाढ़ में बन रहे सुपर थर्मल बिजली संयंत्रों एवं कटनी तथा बरौनी जैसे अन्य बिजली संयंत्रों की माल आवागमन जरूरतों की पूर्ति में सहायक होगा.
- दोहरे रेल लाईन का निर्माण आवागमन बाधाओं को सरल करने में सहायक होगा.
- इस परियोजना के जरिये झारखंड के रांची, गुमला एवं सिमडेगा जिलों तथा ओडिशा के सुंदरगढ़ जिले को लाभ पहुंचेगा.
- बोकारो स्टील संयंत्र एवं राउरकेला स्टीगल संयंत्र के विस्तार के साथ मौजूदा लाईन क्षमता का उपयोग बढ़कर क्रमश: 226 प्रतिशत एवं 171 प्रतिशत हो जाएगा.
- कच्चा मालों एवं परिष्कृत स्टील की अतिरिक्त मात्रा जिसकी इस परियोजना खंड के तहत ढुलाई होगी, 2025-26 तक बढ़कर 10 एमटीपीए के स्तर तक पहुंच जाएगी.
राजबाला वर्मा झारखंड की मुख्य सचिव बनीं
भारतीय प्रशासनिक सेवा की वर्ष 1983 बैच की पदाधिकारी राजबाला वर्मा 31 मार्च 2016 को झारखंड की नई मुख्य सचिव बनीं.
झारखंड के मुख्य सचिव के रूप में राजबाला वर्मा ने राज्य के निवर्तमान मुख्य सचिव राजीव गौबा का स्थान लिया, जो केंद्रीय प्रतिनियुक्ति पर शहरी विकास मंत्रलय के सचिव नियुक्त किये गए. राजबाला वर्मा इससे पहले झारखंड पथ निर्माण विभाग की अपर मुख्य सचिव थीं. राजबाला वर्मा झारखंड की 18वीं मुख्य सचिव हैं.
झारखंड सरकार ने उत्कृष्ट खिलाड़ियों हेतु नौकरी में 2 प्रतिशत आरक्षण की घोषणा की
झारखंड के मुख्यमंत्री रघुवर दास ने 10 अप्रैल 2016 को राज्य के उत्कृष्ट खिलाड़ियों हेतु विभिन्न विभागों में दो प्रतिशत रोजगार आरक्षित करने की घोषणा की.
राष्ट्रीय तीरंदाजी चैम्पियनशिप के भारतीय दौर के उद्घाटन समारोह में अर्जुन स्टेडियम में यह घोषणा की गयी.
वर्तमान में राज्य में पदक विजेता खिलाड़ियों हेतु पुलिस विभाग की नौकरी में दो प्रतिशत कोटा आरक्षित है, जिसे अब सभी विभागों में लागू कर दिया गया है.
झारखण्ड सरकार ने विधवाओं के लिए भीमराव आवास योजना आरंभ की
झारखण्ड के मुख्यमंत्री रघुबर दास ने 14 अप्रैल 2016 को विधवाओं के लिए भीमराव आंबेडकर आवास योजना आरंभ की.
योजना का उद्देश्य समाज में समानता और सदभाव बनाये रखना तथा सर्वांगीण विकास सुनिश्चित करना है.
योजना के प्रमुख बिंदु
- इस योजना का बजट 80 करोड़ रूपए है तथा इसमें विधवाओं के लिए बजट सत्र 2016-17 के दौरान 11000 मकानों का निर्माण किया जायेगा.
- पहाड़ी क्षेत्रों में मकान बनाने के लिए 75000 रुपये आवंटित किये जायेंगे जबकि मैदानी क्षेत्र के लिए 70000 रुपये दिए जायेंगे.
- यह राशि लाभार्थी को उसके बैंक खाते में तीन किश्तों में दी जाएगी.
- इसके अतिरिक्त विधवाओं को पेंशन भी दी जाएगी.
झारखंड में सड़कों के विकास हेतु एडीबी के साथ समझौता किया
झारखंड में सड़कों के विकास हेतु राज्य सरकार और एशियन डवलपमेंट बैंक (एडीबी) के बीच कर्ज और प्रोजेक्ट एग्रीमेंट को लेकर समझौता हुआ. इस समझौते के तहत झारखंड में 43.7 किलोमीटर खूंटी-तमाड़, गोविंदपुर-तुंडी-गिरीडीह 43.5 किलोमीटर, गिरीडीह-जमुआ और दुमका-हसडीहा सड़क का विकास किया जायेगा. 03 जून 2016 को भारत सरकार और बैंक के बीच नई दिल्ली में समझौता हुआ.
कुल 176 किलोमीटर इन सड़कों के निर्माण पर 1500 करोड़ रुपये खर्च होंगे. यह धन राशि एडीबी उपलब्ध कराएगी.
समझौता के मुख्य बिंदु-
- कार्य को अंजाम देने हेतु लिए अशोक बिल्डकॉम, जीकेसी और एचवायसी कंपनी का चयन किया गया है.
- इस प्रोजेक्ट की निगरानी राज्य का पथ निर्माण विभाग और एडीबी संयुक्त रूप से करेंगे.
- इस सड़क परियोजना को 2018 तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है.
- अधिकांश सड़कें अदिवासी बहुल इलाकों में हैं और सरकार राज्य के हर सुदूर क्षेत्र को सड़कों से जोड़ने की योजना पर काम कर रही है.
झारखंड सरकार आदिम जनजातीय समूहों के लिए अलग सेल बनाएगी
जुलाई 2016 में झारखंड सरकार ने कल्याण विभाग में आदिम जनजातीय समूहों (पीटीजी) के लिए अलग सेल बनाने का फैसला किया. इसका उद्देश्य विभिन्न योजनाओं के तहत समूहों को दिए जाने वाले लाभों की निगरानी करना है.
इस सेल में एक सलाहकार और एक सहायक रखे जाएंगे.
राज्य में करीब 3 लाख लोग हैं जो पीटीजी से संबंधित हैं.
आदिम जनजाती समूह (पीटीजी):
विशेष रूप से कमजोर जनजातीय समूह (पीवीटीजी) ( पहले इसे आदिम जनजातीय समूह कहा जाता था) भारत सरकार द्वारा किया गया वर्गीकरण है जिसका उद्देश्य विशेष न्यून विकास सूचकांकों वाले कुछ खास समुदायों की स्थितियों में सुधार करना.
वर्ष 2006 में भारत सरकार ने “आदिम जनजाती समूह” का नाम “विशेष रूप से कमजोर जनजाति समूह” करने का प्रस्ताव दिया था. तब से भारत सरकार द्वारा पीटीजी का नाम बदल कर विशेष रूप से कमजोर जनजाति समूह रख दिया गया.
इसकी पहचान कैसे हुई और यह कब हुआ?
धेबर आयोग (1960-1961) ने कहा था कि अनुसूचित जनजातियों के बीच विकास दर में असमानता है. चौथी पंचवर्षीय योजना के दौरान अनुसूचित जनजातियों के भीतर एक उप–श्रेणी बनाई गई ताकि उन समूहों की पहचान की जा सके जो विकास के सबसे निम्न स्तर पर हैं.
इसका गठन धेबर आयोग की रिपोर्ट और अन्य अध्ययनों के आधार पर किया गया था. इस उप–श्रेणी को ” आदिम जनजाती समूह” नाम दिया गया था.
इस प्रकार के समूह की विशेषताओं में – जीवन के लिए कृषि– पूर्व प्रणाली यानि शिकार और सभी की प्रथा, शून्य या नकारात्मक जनसंख्या वृद्धि, अन्य जनजाती समूहों की तुलना में बेहद कम साक्षरता स्तर, शामिल है.
फिलहाल भारत में आदिम जनजाती समूहके 75 समुदाय हैं. झारखंड (बिहार समेत) में पाए जाने वाले पीटीजी हैं– असुरस, बिरहोर, बिरजिया, हिल खारिया, कोरवास, माल पहारिया, पारहियास, सौरिया पहारिया और सेवर.
इससे पहले जून 2016 में राज्य सरकार ने शिक्षा और सरकारी नौकरियों में आदिम जनजाती समूहों (पीटीजी) को दो फीसदी आरक्षण देने का फैसला किया था.ऐसा करने का उद्देश्य इन समूहों को अब तक नहीं उपलब्ध हो सके सकारात्मक कार्रवाईयों को संस्थागत रूप देना था.
मोमेंटम झारखंड के तहत सीएम ने आठ कंपनियों के साथ एमओयू पर हस्ताक्षर किए
मुख्यमंत्री रघुवर दास ने मुंबई के होटल ताज पैलेस में ‘मोमेंटम झारखंड’ के तहत आयोजित रोड शो में आठ कंपनियों के साथ मेमोरेंडम ऑफ अंडरस्टैंडिंग (एमओयू) पर हस्ताक्षर किया.
मोमेंटम झारखंड के बारे में-
- इन कंपनिया ने झारखंड में 2450 करोड़ रुपये के निवेश का प्रस्ताव राज्य सरकार को दिया है.
- रोड शो में मुख्यमंत्री रघुवर दास ने छह नयी निवेशोन्मुखी नीतियां लांच की. निवेशक जागरूकता हेतु अनेकों कार्यशालाओं का आयोजन किया गया.
यह रोड शो मुख्यमंत्री रघुवर दास ने निवेश हेतु की जाने वाली विदेश यात्रा से पांच दिन पूर्व 20 सितम्बर 2016 को आयोजित किया.
- रोड शो के दौरान रघुवर दास ने निवेशकों को निवेश के अवसर और झारखंड में उससे जुड़ी विशेषताओं तथा शासकीय नीतियों से अवगत कराया.
रोड शो में ऑटोमोबाइल और ऑटोमोबाइल उपस्कर बनाने वाली कंपनियों, वस्त्र निर्माण, सूचना तकनीक व उससे जुड़ी, उच्च शिक्षा व तकनीकी शिक्षा, स्वास्थ्य और स्वास्थ्य शिक्षा व शहरीकरण विनिर्माण में जुड़ी कंपनियों के प्रतिनिधि मौजूद थे.
कंपनियां और उनके निवेश का प्रस्ताव
ओरिएंट क्राफ्ट लिमिटेड- कपड़ा उद्योग के क्षेत्र में 1500 करोड़ की लागत से 140 एकड़ भूखंड में दो निर्माण पार्क स्थापित करेगा.
एमएनआर एजुकेशन ट्रस्ट- 350 करोड़ रुपये की लागत से 80 एकड़ भूखंड पर अगले पांच वर्षों में मेडिकल और पैरामेडिकल एजुकेशन कैंप की स्थापना करेगा.
डिसुन हॉस्पिटल और हार्ट रिसर्च संस्थान- 500 करोड़ रुपये की लागत से 500 बेड वाला मल्टी स्पेशिएलिटी हॉस्पिटल, 1300 सीटों वाली नर्सिंग संस्थान और 300 सीटों वाली पैरामेडिकल संस्थान की स्थापना करेगा.
बोकारो सेवा ट्रस्ट सह रामा विश्वविद्यालय कानपुर- 100 करोड़ की लागत से बोकारो में 300 बेड के सुपर स्पेशियलिटी हॉस्पिटल की स्थापना की जायेगी. साथ ही बोकारो में मेडिकल रिसर्च सेंटर की स्थापना की जायेगी.
टाटा स्टील लिमिटेड- खनन व मेटेलर्जी के क्षेत्र में सीएसआर के तहत सॉफ्ट स्किल सिस्टम में युवाओं को प्रशिक्षित करेगा.
टेक महिंद्रा- आइटी के क्षेत्र में कौशल विकास और रोबोटिक्स एवं क्लाउड कंप्यूटिंग के क्षेत्र में स्टूडेंट एक्सचेंज प्रोग्राम चलायेगा. साथ ही इंक्यूबेशन सेंटर एवं बीपीओ इकाई की स्थापना करेगा.
फ्यूल- अगले 10 वर्षों तक राज्य में कौशल विकास और क्षमता निर्माण का कार्यक्रम चलायेगा.
वाकारंगी लिमिटेड- ई-गवर्नेंस के क्षेत्र में 1600 से अधिक केंद्रों की स्थापना करेगा. इनमें से 1100 केंद्रों की स्थापना ग्रामीण क्षेत्रों में की जायेगी. इनके द्वारा (बीटूबी-बीटूसी) ई-सर्विस भी उपलब्ध करायी जायेगी.
झारखंड केरोसिन हेतु प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण करने वाला पहला राज्य बना
- झारखंड 1 अक्टूबर 2016 को केरोसिन में प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण करने वाला देश का पहला राज्य बना. अभी यह योजना राज्य के चार जिलों चत्रा, हजारीबाग, खूंटी एवं जामतारा में लागू की जाएगी.
- पेट्रोलियम तथा प्राकृतिक गैस मंत्रालय द्वारा जारी विज्ञप्ति के अनुसार इस योजना के अंतर्गत केरोसिन को बिना सब्सिडी के बेचा जायेगा तथा सरकार द्वारा दी जा रही सब्सिडी को उपभोक्ता के बैंक खाते में भेजा जायेगा. इस योजना का उद्देश्य बिना किसी धांधली के केरोसिन उचित दाम पर उपलब्ध कराना है.
उद्देश्य
इसके अनुसार उपभोक्ताओं को प्रत्यक्ष रूप से तथा बिना कालाबाजारी के उन्हें केरोसिन उपलब्ध कराना है. साथ ही किरोसिन में की जाने वाली मिलावट को रोकना भी इसका उद्देश्य है.
योजना
- केंद्र सरकार द्वारा 1 अप्रैल 2016 को 9 राज्यों के 33 जिलों में प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण योजना को आरंभ किये जाने की घोषणा की थी. यह नौ राज्य हैं – छत्तीसगढ़, हरियाणा, हिमाचल प्रदेश, झारखंड, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र, पंजाब, राजस्थान एवं गुजरात.
- इस योजना को लागू किये जाने की तिथि आगे इसलिए बढ़ाई गयी क्योंकि इन राज्यों में लोगों के पास बैंक अकाउंट एवं आधार नम्बर नहीं थे.
- इस योजना के अनुसार राज्यों को पहले दो वर्षों में 75 प्रतिशत राजकोषीय सब्सिडी, तीसरे वर्ष में 50 प्रतिशत तथा सब्सिडी का 25 प्रतिशत चौथे वर्ष में सुरक्षित किया जायेगा.
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